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किताबें/पुस्तकें

किताबें साथी हैं, मार्गदर्शक हैं, सलाहकार हैं।

शब्दों की दुनिया जबान और सोच समझ को नया संवार देती है।

किताबें हमें अपने आप से मिलने का मौका देती हैं।

इस मुलाकात की गति पाठक स्वयं तय करता है।

किताबों से भाषा, शैली और सोच की समृद्धि मिलती है।

किताबों से जीवन के अनदेखे पक्षों का सहज ही भान हो जाता है।

किताबें एक ऐसा दोस्त हैं, जो कुछ नया सिखाने को सदैव तत्पर हैं।