solution for NCERT Punjabi and Hindi CBSE, History of India, Zafarnama, History of Punjab, Anuchhed and Lekh in Hindi and Punjabi, Hindi and Punjabi suvichar
छोटे-छोटे कदम भी अगर सही राह पर पड़ें, तो बड़ी मंज़िल तक पहुंचा सकते हैं।
देने वाले के पास खजाना हो, यह जरूरी नहीं।केवल देने वाला दिल होना चाहिए। यह भावना ही सहयोग की भावना को सात्विक बनाती है।
सकारात्मक व्यक्ति सदा दूसरों में भी सकारात्मकऊर्जा का संचार करता है।
अच्छा इंसान वही है, जो आपके साथ तब हो जब आपको उसकी जरूरत हो।
सच और अच्छाई की तलाश में पूरी दुनियाघूम लें, अगर वह हमारे अंदर नहीं, तो कहींनहीं है।
जो मजबूत हैं, वो वही करते हैं जो उन्हें करना है और जो कमजोर हैं, वो वही मानते हैं जो उन्हें मानना है।
बिना समझ के ज्ञान बेकार है।
व्यक्तिगत स्वार्थ और लालच सत्ता की लालसापैदा करता है और सत्ता से प्रेम हरबुराई की जड़ है।
ऐसा नहीं है कि मनुष्य एक-दूसरे से बहुत ज्यादाअलग होते हैं। लेकिन यह भी सच है कि जो ऊपर उठकर आए हैं, वे सबसे ज्यादा मुश्किल वक्त गुज़ार चुके हैं।
खुशी आज़ादी पर और आज़ादी बहादुरी परनिर्भर करती है।
सच की तलाश में मनुष्य कितने कम कष्ट उठाता है! जो आसानी से हाथ लग जाए, उसे ही स्वीकार कर लेता है।
जिस जगह योग्यता के लिए बड़े ईनाम दिए जाते हैं, वहीं सबसे उत्तम नागरिक मिलते हैं।
अहसान लेकर नहीं,अहसान करके हम अपने दोस्त बचा सकते हैं।
जैसे प्रकृति का हर कण उपयोगी है, वैसे ही हमें अपने जीवन का हर क्षण अपने और दूसरों के लिए उपयोगी बनाना चाहिए।
पढ़ने, देखने और सुनने की आदत हो तो अच्छी बातें करने की आदत अपने आप पड़ जाती है।
धैर्य को खोना, एक जीती हुई जंग को खोने केबराबर है – महात्मा गांधी
दया वो बर्फ है, जिसे ढक लेती है, वह और सुंदर हो जाता है – खलील जिब्रान
जो स्वयं को नहीं बदल सकते। वे कुछ भी नयानहीं कर सकते – जॉर्ज बर्नार्ड शॉ
जब आप दूसरों की दौलत पर नज़र नहीं डालते, तब एक प्राकृतिक न्याय होता है, जो आपको वह सब देता है, जिसे पाने का आपनेसपना देखा था।
खुद को खुश करने का सबसे बेहतरतरीका है, किसी और को खुश करने की कोशिश करना।
हर इंसान के अंदर कोई न कोई गुण होता है, जरूरत होती है तो उसे जानकर उसका अभ्यास करने की। सभी को यह समझना चाहिए कि जो भी गुण उसके अंदर है, उसके आधार पर स्वयं में और समाज में क्या परिवर्तन ला सकते हैं।
यदि आप खुद पर विश्वास करते हैं तो बाधाओं के बावजूदअपने सपनों को साकार होता देखेंगे।
ज़िंदगी को समझना है तो पीछे देखो और अगर जीना है तो आगे देखो।
जो आपको जिताने के लिए हार स्वीकार लेता है, उससे आप कभी नहीं जीत सकते।
जो मजबूत हैं, वे वही करते हैं जो उन्हें करना है और जो कमज़ोर हैं, वे वही मानते हैं जो उन्हें मानना है।
अहसान लेकर नहीं, अहसान करके हम अपनेदोस्त बचा सकते हैं।
तत्वज्ञान में चक्र समय और अंतराल दोनों का प्रतीक है। चक्र की तरह समय भी लगातारघूमता रहता है। चक्र का केंद्र स्थिरता का प्रतीक है जो चिंतन करने से मिलती है।
आपको यह चुनने का अवसर नहीं मिलता कि आप कैसे या कब मरेंगे। आप केवल यह निर्णय कर सकते हैं कि आप ज़िंदगी कैसे जीने जा रहे हैं।
जीतने का मज़ा तभी आता है, जब सभीआपके हारने का इंतज़ार कर रहे हों।
सच और अच्छाई की तलाश में पूरी दुनिया घूम लें, अगर वह हमारे अंदर नहीं तो कहीं नहीं है।
जीवन में सही समय पर देखा गया सपना हीसमय पर पूरा होता है।