CBSEEducationNCERT class 10thPunjab School Education Board(PSEB)

कारतूस – निबंधात्मक प्रश्न – उत्तर


प्रश्न. ‘कारतूस’ पाठ के आधार पर वज़ीर अली की चारित्रिक विशेषताओं का उदाहरण सहित वर्णन कीजिए।

अथवा

प्रश्न. वज़ीर अली कौन था? उसके चरित्र की क्या विशेषताएँ हैं? अपने शब्दों में सोदाहरण स्पष्ट कीजिए।

उत्तर – वज़ीर अली आसिफउद्दौला का पुत्र था व सआदतअली का भतीजा था। वह अवध का भूतपूर्व नवाब व एक जाँबाज सिपाही था। ईस्ट इंडिया कम्पनी ने अपने लाभ के लिए वजीर अली को शासन से वंचित कर उसके चाचा सआदतअली को नवाब बना दिया था। तब से वह अंग्रेजों से नफ़रत करने लगा था। वह उनका कट्टर विरोधी हो गया था। वह एक देशभक्त था जो अंग्रेजों को देश से बाहर निकालने का प्रयास करता रहता था। वह एक निडर व बहादुर सिपाही भी था। उसने अकेले ही अंग्रेजी सेना के कर्नल के खेमे में घुसकर, कर्नल से कारतूस हासिल कर लिए थे। कर्नल भी उसकी बहादुरी से अचम्भित रह गया था।


प्रश्न. ‘कारतूस’ पाठ के आधार पर सोदाहरण सिद्ध कीजिए कि वज़ीर अली एक जाँबाज सिपाही था।

उत्तर – वज़ीर अली अवध का नवाब होने के साथ ही एक जाँबाज सिपाही भी था। वह बहुत साहसी और हिम्मती था। अंग्रेजों द्वारा नवाब पद से अपदस्थ किए जाने पर उसने अंग्रेजों के विरुद्ध विद्रोह आरंभ कर दिया। उसने कम्पनी के वकील की हत्या कर दी। आजमगढ़ व गोरखपुर के जंगलों में भटकते हुए भी उसने हार नहीं मानी। अंग्रेज़ी खेमे में घुसकर कर्नल से कारतूस लेने में सफल रहा। कर्नल को भी उसकी बहादुरी का कायल होना पड़ा। इससे सिद्ध होता है कि वज़ीर अली एक जाँबाज़ सिपाही था।


प्रश्न 3. लेफ्टीनेंट को कैसे पता चला कि हिन्दुस्तान में सभी अंग्रेजी शासन को नष्ट करने का निश्चय कर चुके हैं?

उत्तर – जब लेफ्टीनेंट को कर्नल से यह पता चला कि कम्पनी के खिलाफ केवल वजीर अली ही नहीं, बल्कि दक्षिण में टीपू सुल्तान और बंगाल के नवाब का भाई शमसुद्दौला भी अंग्रेज़ी शासन के खिलाफ हैं और इन तीनों ने ही अफगानिस्तान के बादशाह शाहे-जमा को हिन्दुस्तान पर आक्रमण करने का निमंत्रण दिया है। लेफ्टीनेंट को ऐसा लगा कि कम्पनी के खिलाफ सारे हिन्दुस्तान में एक लहर दौड़ गई है कि अवध से लेकर बंगाल तक सभी अंग्रेजी शासन को नष्ट करने का निश्चय कर चुके हैं।


प्रश्न. वज़ीर अली की अदम्य शक्ति व दृढ़ता का परिचय किस प्रकार मिलता है?

उत्तर – इसका तात्पर्य है कि वज़ीर अली के पास मुट्ठी भर आदमी थे, अर्थात बहुत कम आदमियों की सहायता या साथ था, फिर भी इतनी शक्ति और दृढ़ता का परिचय देना कमाल की बात थी। सालों से जंगल में रहने पर भी स्वयं कर्नल, उनकी सेना का बड़ा समूह, जो बहु-संख्या में युद्ध-सामग्री से लैस था, मिलकर भी उसे पकड़ नहीं पाए थे। उसकी अदम्य शक्ति और दृढ़ता को जीत नहीं पाए थे। उस जाँबाज सिपाही को पकड़ नहीं पाए थे अर्थात वह हर काम इतनी सावधानी तथा होशियारी से करता था कि उसने व उसके मुट्ठी भर आदमियों ने ही कर्नल के इतने बड़े सेना-समूह की नाक में दम कर दिया था।


प्रश्न. “गर्द तो ऐसी उड़ रही है जैसे कि पूरा एक काफिला चला आ रहा हो। मगर मुझे तो एक ही सवार नजर आता है। ” इसका आशय लिखिए।

उत्तरआशय– जब कर्नल अपने खेमे के बाहर बैठकर लेफ्टीनेंट से वज़ीर अली के विषय में बात कर ही रहे थे कि तभी उन्हें दूर से धूल का गुबार उठता दिखाई दिया। जिसे देखकर ऐसा प्रतीत हो रहा था कि सेना का पूरा-पूरा काफिला चला आ रहा हो, परंतु जब ध्यान से देखा तो केवल एक ही घुड़सवार दिखाई दे रहा था। वह अकेला ही पूरे काफिले के समान धूल का गुबार उड़ाता चला आ रहा था।