कक्षा 12वीं प्रश्न-उत्तर


प्रश्न. ‘रस का अक्षयपात्र’ से कवि ने रचनाकर्म की किन विशेषताओं की ओर इंगित किया है?

उत्तर : ‘रस का अक्षयपात्र’ से कवि ने रचनाकर्म की निम्नलिखित विशेषताओं की ओर इंगित किया है-

रचना कर्म का अक्षयपात्र कभी खाली नहीं होता।

रचना कर्म अविनाशी और कालजयी ।

कवि की रचनाएँ हमेशा अमर रहती हैं। पाठकों को अच्छा संदेश और जीवन में सही मार्ग दिखाती हैं।

बार-बार पढ़े जाने पर भी कविता का रस समाप्त ना होना।

इन्हीं विशेषताओं के कारण रचना कर्म को रस का अक्षयपात्र कहा गया है।