अनुच्छेद लेखन : हमारे राष्ट्रीय त्यौहार


हमारे राष्ट्रीय त्यौहार


उत्सव मनाना मानव का जन्मजात स्वभाव है। यह स्वभाव पर्व और त्यौहारों के मनाने के रूप में ही प्रत्यक्ष रूप से व्यंजित होता है। पर्व और त्यौहार किसी भी देश की आंतरिक ऊर्जा, आनंद की भावना और जीवन की जीवंतता के परिचायक होते हैं, पर कुछ ऐसे पर्व और त्योहार भी हैं, जिन्हें सारा राष्ट्र एक साथ मिलकर मनाता है। ऐसे त्योहारों को ही राष्ट्रीय त्यौहार कहा गया है। गणतंत्र दिवस, स्वतंत्रता दिवस और गांधी जयंती हमारे राष्ट्रीय त्यौहार हैं। गणतंत्र दिवस प्रत्येक वर्ष 26 जनवरी को स्वतंत्र भारत का संविधान लागू होने की याद में धूमधाम से मनाया जाता है। राष्ट्रपति भवन के बाहर राजपथ पर राष्ट्रपति द्वारा तीनों सेनाओं आदि से सलामी लेना, परेड, अनेक प्रकार की भव्य झांकियां और प्रदर्शन, रात को विभिन्न प्रकार के सांस्कृतिक कार्यक्रम दीपावली और आतिशबाज़ी इसकी प्रमुख विशेषताएँ हैं। 15 अगस्त सन् 1947 के दिन हमारा देश स्वतंत्र हुआ, जिसकी याद में प्रत्येक वर्ष 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस के रूप में धूमधाम से मनाया जाता है। लाल किले की प्राचीर से प्रधानमंत्री द्वारा राष्ट्रध्वज फहराना, इसे सलामी देना तथा देश को संबोधित आदि इस त्यौहार की प्रमुख गतिविधियाँ और विशेषताएँ हैं। 2 अक्टूबर महात्मा गाँधी का जन्म दिवस है। यह दिन उस महान विभूति को अपनी श्रद्धांजलि देने स्वरूप मनाया जाता है जिसने हमारे देश को आजाद कराने के लिए अपना सर्वस्व लुटा दिया। इन सभी त्योहारों का उद्देश्य राष्ट्रीय एकता और आंतरिक आनंद का भाव उजागर करना तो है ही, यह स्मरण रखना भी है कि मानवता, राष्ट्रीयता और उसकी स्वाधीनता से बड़ी कोई चीज़ नहीं।